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गुरुवार, 10 मई 2012

बाल-गजल

हे रौ गुलेटेनमा  सुन रौ टुनटुनमा एलै छुट्टी गर्मी  क'
चल इस्कूल क' कहिये हम टाटा आब भेलै छुट्टी गर्मी क'

अन्हर बताश में खूब हम घुमब गाछी जा आमो चुनब
पाकल आमक रस निचोरब आई चढ़लै छुट्टी गर्मी क'

मेघ बुन्नी में खूब नहायेब माई क' हम बातो नै मानब
हत्ता-खत्ता में चल मान्छ जा' क' मारब बढ़लै छुट्टी गर्मी क'

हाट बजार में त' बाबु संग जेबै लेमंचुस बिस्कुट खेबै
मेला में जा' क' हम झुला झुलब कम बचलै छुट्टी गर्मी क'

इस्कूल क' गृहकार्य बांचल अछि रत्तियो नै त' वक्त छैक
अछि मोन विधुआयेल किये ख़तम भ' गेलै छुट्टी गर्मी क'

(सरल वार्णिक बहर वर्ण -२२)

रूबी झा

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