मंगलवार, 5 फ़रवरी 2013
समयक संग
नै शेष बचल कोनो उमंग
ठमकल सन जिनगीक तरंग
कोना कऽ उड़तै मोनक पतंग
आशक डोर बीच्चेमे भेल भंग
सब ठाम राजनीतिक बड़का जंग
अपनौती भैयारी भेल अपंग
सालक साल एक्के ठाम सब प्रसंग
टूटल छै देशक समाजक विकासक अंग
मुदा सदिखन बदलै छै जीवनक रंग
बैसल रहलासँ नै जीतब कोनो जंग
छोरू सबहक चिन्ता बनबू अपन एक ढंग
अपन विकासक लेल करू अपनेकेँ तंग
रूकू नै बढ़ैत रहू सदिखन समयक संग
अमित मिश्र
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